हमारे भारत देश मे आज भी ऐसी बहुत ही जगह है, जहां पे लड़किया सुरक्षित नही है। और आज के रोजमर्रा के ज़िंदगी मे आपको कही न कही ये सुनने को मिल ही जाता है, की कोई लड़कि के साथ बहुत बुरा दुष्कर्म हुआ है। जिसके बाद उस लड़कियों की ज़िंदगी पूरी तरह से बर्बाद हो गई। पर उस लड़की के साथ जो भी इंसान दुष्कर्म किया है, वो बिना डरे खुले आम घूम रहा है, और उसको किसी भी प्रकार की कोई दिकत नही हो रही है। जिस के वजह से लड़कियां खुद को सुरक्षित नही महसूस करती है। ऐसे तो हमारे कानून मे उन आपराधी के लिए बहुत से नियम लिखी हुई है। पर सब के सब ऐसे ही रह जाते है, जब भी कोई बड़े बाप का बेटा किसी छोटी घर के लड़की के साथ दुष्कर्म करता है, तो सारे के सारे नियम ऐसे ही रह जाते है। और वो बड़े आराम से घूमते रहते है। पर अब धीरे-धीरे कर के सब बदल रहा है, अब कोई भी अपराधी बच नही रहा है। और अब हमारे देश की लड़किया कही भी अकेले जाने का साहस रखती है, साथ-ही-साथ वो अपना बचाव भी कर सकती है।
अब तो लड़किया अकेले यात्रा भी करने चली जाती है, क्योंकि उन्हे पता है, की हमारे देश के पुलिस उनकी रक्षा करने के लिए हमेशा हाजिर रहते है। जो उन्हे कुछ नही होने देंगे।
इसके बाद भी लड़कियों को उनके माता और पिता उन्हे अकेले केदारनाथ यात्रा (kedarnath yatra) करने नही जाने देते है, क्योंकि उन्हे आज भी कही न कही डर लगा हुआ रहता है। इसलिए काफी सारे माता-पिता जब अपनी लड़की को यात्रा पे भेजते है, तो वो केदारनाथ यात्रा पैकेज (kedarnath yatra package) का उपयोग करना पसंद करते है, जिस से उनका डर थोड़ा कम हो जाता है, या फिर लड़कियों को समूह मे यात्रा करने जाना चाहिए।
केदारनाथ मंदिर की कुछ खास बातें
केदारनाथ मंदिर उत्तराखंड राज्य के गढ़वाल मे स्थित है, जहाँ पे आपको प्राकृतिक की सुंदरता देखने को मिलती है। इस मंदिर मे भक्त अपने मनोकामना ले कर आते है, और भगवान शिव के सामने कहते है।
इस मंदिर की अपनी ही मान्यता है, यहाँ की मान्यता ये भी है की केदारनाथ मंदिर की यात्रा लोग अपने पापों का प्रयाश्चित करने के लिए भी करता है।
ये मंदिर खुद मे ही बहुत बड़ा धाम है, जो की अन्य धामों मे से भी एक है, जैसे दोधाम यात्रा (dodham yatra), 12 ज्योतृलिंगा, छोटा चारधाम यात्रा (chardham yatra) की बड़ी-बड़ी धामों मे से एक महत्वपूर्ण धाम है।
बात करते है, की यहाँ लड़की अकेले यात्रा करने आ सकती है, या नही। लड़की केदारनाथ यात्रा करने बिलकुल अकेले आ सकती है। पर उन्हे कुछ नियमों का पालन करना चाहिए। जैसे की वो भीड़ वाले इलाके मे रहे, अकेले किसी भी सुनसान रास्ते पे न जाए, वो रात के अंधेरे मे बाहर न जाए और अगर उसे किसी भी चीज़ की जरूरत लगे, तो वो जिस होटल मे रुकी हो, वहाँ से मदद मांगे। जिस होटल मे वो रुक रही हो, तो उस होटल की पूरी जानकारी ले जिसके बाद उस होटल के बारे मे अपने घर वालों को पूरी जानकारी दे। तब लड़की अकेले केदारनाथ की यात्रा कर सकती है। बाकी तो आज की लड़की बहुत ही समझदार होती है।
केदारनाथ मंदिर की निर्माण मे भी एक बहुत ही प्रचलित कथा है। इस कथा के अनुसार पांडव ने बहुत बड़ी पाप किए थे, जिसका प्रयाश्चित करने के लिए, पांडव ने पंच केदार मंदिर का निर्माण किए थे। जिसका केदारनाथ मंदिर बहुत ही अहम हिस्सा है।
केदारनाथ मंदिर के निकटतम मंदिर
त्रियुगी नारायण मंदिर
त्रियुगी नारायण मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। जो की चमोली जिले के त्रियुगी गाँव मे स्थित है। इस मंदिर को हमलोग अखंड धुनि मंदिर के नाम से भी जानते है। जहाँ पे भगवान शिव और माता पार्वती की विवाह की कथा बहुत प्रचलित है। जो की इस प्रकार है, की माता पार्वती ने भगवान शिव को प्रसन्न करने के गुप्तकाशी मे एक घोर तप की थी, भगवान शिव जब उनकी भक्ति को देख कर बहुत ही प्रसन्न हुए तो, उन्होने माता पार्वती को दर्शन दिये, और कुछ भी मांगने को बोले, इस पे माता पार्वती ने भगवान शिव से शादी करने की प्रस्ताव रख दी। भगवान शिव उनके भक्ति से बहुत प्रसन्न थे, इसलिए उन्होने प्रस्ताव सुविकार कर लिए। और इसी मंदिर के सामने आकार उन्होने शादी करने को हाँ बोले थे।
त्रियुगी नारायण मंदिर के सामने उन्होने शादी की थी, जिसमे भगवान विष्णु माता पार्वती के भाई के रूप मे शामिल हो कर पूरी रीति-रिवाज निभाए। वही संसार के निर्माता ब्रह्माजी ने पंडित के रूप मे शामिल होकर पूरी मंत्रों का सही-सही उच्चारण कर इनकी शादी करवाए थे। भगवान शिव की शादी मंदिर मे जलते अग्नि के लौ के सामने हुई थी। जो की आज तक जल ही रही है। इस आग की रख को भक्त अपने घर ले जाते है, जिस से उनकी घर की सारी दुख और कष्ट दूर हो जाए।